चिकनी जांघ देख दोस्त को दिया धोखा [ Part-1]

sexstories

Administrator
Staff member
जांघ पर नजर पड़ जाए तो चूत का नजारा साफ़ पता चल जाता है। मोटी जांघ हो तो चूत बदबूदार होती है क्योकि उसमे से हवा नही पास होती, अगर पतली जांघे हो तो चूत खूश्बूदार होती है क्योंकि उसमें फ़्रेश हवा जाती रहती है। लेकिन जब जांघ चिकनी हो तो कहना ही क्या? क्योंकि चिकनी जांघ पर आपकी नीयत फ़िसल जाती है। तो कुछ ऐसा ही हुआ मेरे साथ्। ध्यान दें कि यह कहानी मेरे एमबीए के मजेदार एडवेंचरो का सिलसिला है जिसमें मेरे दोस्त की गर्लफ़्रेंड की केले के तने जैसी चिकनी जांघे देखकर मेरा दिल फ़िसल गया और मैं बन गया राउडी राठोर!!

मेरा दोस्त अभिषेक मेरा लंगोटिया यार है। हम दोनो साथ ही एमबीए कर रहे थे। उस दिन उसकी गर्लफ़्रेंड कर्तिका का बर्थ डे था और शाम को रेस्टरां में पार्टी थी। उसने विशेष रुप से मुझे बुलाया था। हम तीनो शाम को डिनर करने के लिए रेस्टरां में बैठे थे। वेटर ने आर्डर लिया और हम बैठ कर सूप पीने लगे। मैंने आज पहली बार उसकी गर्ल फ़्रेंड को नजदीक से देखा। उसने मस्त टाप और जैकेट पहन रखी थी। उसकी लाल लाल छोटी सी टाप उसकी बड़ी चूंचियो को छुपाने में नाकामयाब थी और उसकी छोटी सी मिनी जैकेट उसकी चूंचियो के उपर ही टंग रही थी। टाप के उपर से उसके चूचक के उभार साफ़ दिख रहे थे और उसके गोल गोल चूंचो की घाटिया बड़े गले वाले टाप में साफ़ झलक रही थी। मेरी नीयत खराब होने लगी।

मैं फ़्रस्ट्रेट हो रहा था जब मेरे सामने कंटाप माल हो और मेरे हाथो में उसकी चूचे न हो तो मैं तनाव मे आ जाता हू और मेरा लंड इतनी कामुक लड़की को पास देखकर चड्ढी में डांस करने लगता है। तो मेरे खुराफ़ाती दिमाग में एक आइडिया सूझ गया। मैंने अपना मोबाईल नीचे गिरा दिया। वह गिरा तो उठाने के लिए मैंने अपनी मुंडी टेबल के नीचे करी तो अवाक रह गया। उसकी मिनी स्कर्ट बिना चड्ढी की चूत और चिकनी जांघे; ये सब देखकर मेरे दिल की धड़कन शताब्दी एक्स्प्रेस बन गई। मैने मोबाईल उठाया और कैमरे से मस्त चूत की फ़ोटो खीच डाली। अपना लंड ऐठते हुए मैने अपनी मुंडी उपर की।

तभी अभिशेक का फ़ोन आ गया, वह टेबल से उठकर किनारे जाकर बात करने लगा। मैं जान बूझ कर अपनी सीट से खड़ा हो गया। मेरे लंड का उभार जीन के उपर से करीब तीन इंच बाहर उभरा दिख रहा था। कर्तिका ने वह लंड का तनाव देख लिया और मुस्कराने लगी। बोली तबियत तो ठीक है तुम्हारी? मैंने कह दिया जब तुम्हारे जैसी हसीना सामने बैठी हो तो भला तबियत किसकी हरी ना हो जाए। उसने मुझे आंख मार दी।

मैं समझ गया कि साली छटी छिनाल खाई पीयी लड़की है यह्। मैं टेबल पर बैठ कर अपना लंड खीच कर जीप से बाहर निकाल दिया। अभिशेक आ चुका था वह कर्तिका के बगल में मेरे सामने बैठ गया और डिनर करने लगा। मैंने अपने पैरो से कर्तिका के जांघ पर हल्का सा टच किया और उसकी आंखो में गहरा झांक लिया। उसके आंखो के डोरे लाल हो रहे थे। वह अपनी टांग उपर की तरफ़ लायी और मेरे लंड को टटोलने लगी। मेरा लंड तो पहले से ही खड़ा उसका इंत्जार कर रहा था।

इस धांसू चूत और चिकनी जंघा वाली कमसिन कली को कैसे चोदा पढिए भाग-2 में
 
Back
Top