लंड को चूत का तोहफ़ा

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सीनियर नीलू को मेरा ताजा और मोटा लंड भा गया

लंडको चूत ने उसके 18वे जन्मदिन पर तोहफा दिया । सुनने में बड़ा कामुक और मस्त लगता है । ये बात मेरे लंड और मेरी सीनियर की चूत की है । मै कॉलेज में नया था और हम लोगो की काफी जमकर रेगिंग हुई थी, लेकिन मेरे सीनियर मुझसे खुश थे, क्योकि मैने सबकी बात बिना किसी झिझक के मानी थी ।मेरे सीनीयर्स, मेरा लंड भी देख चुके थे, मेरी गांड पर भी हाथ फेर चुके थे । उन सब में एक लड़की भी थी, वो भी बहुत ही बिंदास थी । मुझे नंगा होकर बिना लंड खड़ा किये हुए, उसको फूल देना था और वो मैने कर दिया था । नीलू को मेरा सोया हुआ लंड ही पसंद आ गया था । मेरा लंड 12 इंच का था और ये सब मेरे कई सालो से मुठ मारने का फल था । हमसब जुनीयर्स नीलू को पसंद करते थे, लेकिन उसको कोई कुछ नहीं बोलता था क्योकि, उसका बॉयफ्रेंड क्ल्लेगे का सबसे बड़ा गुंडा था ।नीलू ने जबसे मेरा लंड देखा था, वो मुझे कहीं भी पकड़ लेती थी और रेगिंग के नाम पर मेरा लंड खुलवा लेती थी और पकड़ लेती थी । मुझे सब कुछ समझ आ रहा था । नीलू काफी अमीर लड़की थी और उस शहर में अपने पाप के फार्महायुस में रहती थी । वो वहां पर किसी को नहीं ले जाती थी ।

6 महीने निकुल चुके थे और सब कुछ नोर्मल हो गया था, लेकिन नीलू मुझ पर फ़िदा थी । अब वो मेरा लंड को नहीं देख सकती थी, लेकिन कॉलेज में वो मुझे घूरती रहती थी । उसको पता नहीं कहाँ से पता चल गया, की संडे को मेरा जन्मदिन है और उसने सब प्लान कर लिया । उसने अपने बॉयफ्रेंड से बीमारी का बहाना बनाकर मुझे पहली रात को अपने यहाँ बुलाया । वो उस दिन अकेले थी । जब मै वहां पंहुचा , तो सब जगह अँधेरा था और एक जगह कुछ मोमबत्ती जल रही थी । जब मै वहां गया, तो मोमबत्ती के नीचे एक नोट लिखा हुआ था, कि अपने जूते और मोज़े उतार दो । इस तरह आगे, एक और मोमबत्ती । जब तक मै कमरे में पंहुचा, मेरे बदन पर सिर्फ एक चड्डी रह गयी थी । कमरे में लाल रंग की हलकी रौशनी थी और सामने बिस्तर पर नीलू सिर्फ जाली चादर में लिपटी हुई लेती थी । बहुत ही कामुक औरवासना भरा पल था, मैने अब तक जितनी ब्लूफिल्म देखि थी, वो सब इसके आगे फेल थी ।

नीलू ने बिस्तर से मुझे देखा और अपनी तरफ नुलाने लगी । मै बिस्तर के किनारे पर बैठ गया और नीलू मेरी तरफ आ गयी और मेरे होठो पर एक गरम किस करते हुए कहाँ, जन्मदिन मुबारक हो, मेरी जान । मेरा लंडको तन के खड़ा हो चूका था और बस नीलू जी गरम चूत चाहता था । उसने मेरी चड्डी उतार फेंकी और अपने शरीर को भी चादर से आज़ाद कर दिया । मै उसके कामुक मदमस्त शरीर को देखता ही रहा गया । उसने मेरा लंड पकड़ा और उसका हस्त्मठुं करने लगी और मापने होठो को मेरे होठो पर रख दिया । मैने कुछ बोलने की कोशिश की, तो उसने मेरे होठो पर अपनी ऊँगली रख ली और बोली अभी मुझे चोदने दो, उसके बाद तुम मुझे चोद लेना, मुझसे और इंतज़ार नहीं हो रहा था । मेरी चूत तेरे बड़े लंडके लिए तड़प रही है ।

उसने मुझे पलंग पर धक्का दे दिया और मेरा लंड अपने हाथो ले लिया और उसको अपने हाथो से मस्साज देने लगी और खेलने लगी । मेरा शरीर मस्ती में उछ्ल रहा था और मेरी उतेजना भरी आवाज़ पुरे कमरे में गूंज रही थी। मै कुछ सोच पता, उससे पहले उसने मेरा लंड अपने मुह में ले लिया और उसके मस्त गिले होठो का गरम स्पर्श मेरे लंडको करंट जैसे लगा । मैने मुठ तो बहुत बार मारा था, लेकिन आज तक असली में सेक्स नहीं किया था ।मुझे लगा, कि मै झड़ने वाला हु, तो मैने नीलू को बोला मेरा काम होने वाला है। उसने मेरा लंड छोड़ दिया और कुछ मिनट के लिए मेरे पास लेट गयी । कुछ देर बाद, जब मुझे लगा; कि अब मै कुछ देर और झेल सकता हु, तो मै उसके ऊपर आकर उसके होठो को चूमने लगा और उसके चूचो को दबाने लगा । उसने मुझे पीछे धक्का दे दिया और परे ऊपर चढ़ गयी । उसने अपनी छुट को मेरे लंड पर टिकाया और जो से उसपर बैठ गयी । मेरे लंडकी पूरी खल नीचे खीच गयी और मेरी चीख निकल पड़ी। नीलू ने कुछ भी नहीं सुना और उसने अपने हाथो को अपने बालो में फसाया और जोर-जोर से मेरे ऊपर कूदने लगी । कुछ देर में उसने अपने झटके तेज कर दिए और मेरे ऊपर गिर गयी । वो झड चुकी थी और मै भी। मेरा लंड सुकदकर छोटा हो गया था । नीलू मेरे ऊपर आई और मुझे किसकर कर बोली, कैसा लगा जन्मदिन का तोहफा। मै मुस्कुराया और उसके ऊपर चड़कर उसके होठो को चूसने लगा । उस रात हम दोनों ने न-जाने कितनी बार सेक्स किया और अगली सुबह वो मुझे सोता छोड़कर चली गयी।
 
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