जब अक्षिता चिल्ला पड़ी

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Antarvasna, hindi sex kahani: मेरी मोटरसाइकिल खराब हो जाने की वजह से उस दिन मुझे बस से ही ट्रेबल करना पड़ा। मैं उस दिन अपने ऑफिस बस से ही गया मैं जब उस दिन शाम के वक्त बस से वापस घर के लिए लौट रहा था तो मुझे बस में अक्षिता दिखी अक्षिता मुझे काफी दिनों बाद दिख रही थी। मैंने अक्षिता से बात की तो वह मुझे कहने लगी कि उसकी जॉब भी कुछ दिनों पहले ही लगी है। मैंने अक्षिता को कहा तुमसे तो मेरा संपर्क काफी समय से हो ही नहीं पाया था मुझे लगा था कि तुम शायद अभी भी भोपाल में ही जॉब कर रही हो। अक्षिता ने मुझे कहा कि नहीं मैंने भोपाल से रिजाइन दे दिया था और अब मैं जयपुर में ही जॉब कर रही हूं। अक्षिता और मैं स्कूल में साथ में पढ़ा करते थे उसके बाद वह भोपाल पढ़ाई करने के लिए चली गई थी। हालांकि हम दोनों एक दूसरे को मिलते तो एक दूसरे से बातें जरूर किया करते थे लेकिन उस दिन मैंने अक्षिता के साथ काफी देर तक बातें की। मैंने अक्षिता को कहा कि अक्षिता तुम मुझसे अगले हफ्ते मिलना तो अक्षिता कहने लगी कि ठीक है। मैं भी उस दिन अपने घर लौट आया था और अक्षिता भी अपने घर चली गई थी हम दोनों की मुलाकात एक हफ्ते बाद हुई।

जब हम दोनों की मुलाकात एक हफ्ते के बाद हुई तो हम दोनों एक दूसरे से बातें कर रहे थे मैं और अक्षिता एक दूसरे के साथ में थे। जब मैंने अक्षिता से पूछा कि तुमने आगे शादी के बारे में कुछ सोचा है तो अक्षिता मुझे कहने लगी कि रजत तुम यह सब रहने दो क्योंकि तुम्हें तो पता ही है कि मेरे और अंकित के बीच में रिलेशन काफी लंबे समय से चल रहा था लेकिन अब हम दोनों के बीच में कुछ भी नहीं है। मैंने अक्षिता से कहा कि अक्षिता मुझे तुम्हारे और अंकित के बारे में यह बात नहीं पता कि तुम दोनों अलग हो चुके हो। जब उस दिन अक्षिता ने मुझे यह बात बताई तो मुझे यह सुनकर काफी अजीब सा लगा और मुझे इस बात को लेकर बहुत बुरा लगा। अंकित अक्षिता की जिंदगी से दूर हो चुका था और अक्षिता ने अपनी जिंदगी को दोबारा से शुरू कर दी थी। हम दोनों एक दूसरे से बातें कर रहे थे और उस दिन हम दोनों ने एक दूसरे के साथ में काफी अच्छा टाइम स्पेंड किया। मैं अब घर लौट आया था और उसके बाद मेरी दोस्ती दोबारा से अक्षिता के सतब होने लगी थी। अक्षिता को भी कभी किसी भी चीज की जरूरत होती तो वह मुझसे कहा दिया करती शायद उसने मुझे दिल ही दिल पसंद कर लिया था और हम दोनों एक दूसरे के साथ में काफी खुश भी थे।

अक्षिता ने ही अपने दिल की बात मुझे कही थी अक्षिता के प्यार के इजहार को मैं मना ना कर सका और मैंने और अक्षिता ने एक साथ रिलेशन चलाने की सोच ली। हम दोनों एक दूसरे के साथ रिलेशन में थे और हम दोनों बहुत ही ज्यादा खुश हैं। मैं जब भी अक्षिता के साथ होता तो मुझे काफी अच्छा लगता है। एक दिन अक्षिता ने मुझे कहा कि वह यह बात पापा और मम्मी को बताना चाहती है तो मैंने अक्षिता से इस बात के लिए समय मांगा और कहा कि मुझे थोड़ा समय चाहिए तो अक्षिता भी मेरी बात मान गयी। अक्षिता और मैं एक दूसरे के साथ थोड़े समय बाद शादी करने वाले थे इसलिए मैंने अक्षिता से इस बारे में कहा था लेकिन जब भी मैं अक्षिता के साथ होता तो मुझे काफी अच्छा लगता। एक दिन अक्षिता और मैं साथ में बैठे हुए थे और उस दिन अक्षिता ने कहा कि वह कुछ दिनों के लिए अपने ऑफिस के टूर से भोपाल जा रही है। मैंने उसे कहा कि लेकिन तुम वहां से वापस कब लौटोगी तो अक्षिता ने कहा कि मैं एक हफ्ते बाद वापस लौट आऊंगी।

जब अक्षिता भोपाल गई तो मेरा मन बिल्कुल भी नहीं लग रहा था मैं उसे फोन किये जा रहा था मैंने उसे काफी फोन किया लेकिन उसने मेरा फोन नहीं उठाया। जब अक्षिता का मुझे फोन आया तो मैंने उसे कहा कि तुम मेरा फोन क्यों नहीं उठा रही थी तो अक्षिता ने मुझे बताया कि वह उस वक्त मीटिंग में थी इस वजह से वह मेरा फोन नहीं उठा पा रही थी। मैं अक्षिता को बहुत ही ज्यादा मिस कर रहा था और एक हफ्ता काट पाना मेरे लिए बहुत ही मुश्किल भरा था। जब अक्षिता वापस आ गई तो मुझे भी यब एहसास हो चुका था कि मैं अक्षिता के बिना एक पल भी रह नहीं पाऊंगा इसलिए हम दोनों ने ही शादी करने का फैसला कर लिया था। हम दोनों शादी करने के लिए तैयार हो चुके थे। जब मैंने अक्षिता की फैमिली से इस बारे में बात की तो वह लोग भी इस बात के लिए तैयार थे किसी को भी मेरे और अक्षिता के रिलेशन से कोई एतराज नहीं था। मेरे लिए तो यह बहुत ही खुशी का पल था कि अक्षिता की फैमिली मेरे और अक्षिता के रिश्ते को स्वीकार कर चुकी है।

उसके बाद हम लोगों ने सगाई कर ली और जल्द ही हम दोनों ने शादी करने का फैसला कर लिया। जब हम दोनों की शादी हो गई तो हम दोनों बहुत ज्यादा खुश थे हम दोनों की शादी बड़े ही धूमधाम से हुई थी हम दोनों की शादी में किसी भी प्रकार की कोई कमी नहीं थी। मैंने सोचा भी नहीं था कि इतनी जल्दी अक्षिता और मेरी शादी हो जाएगी। सुहागरात की पहली रात थी मैं और अक्षिता एक ही बिस्तर पर थे। हम दोनों एक दूसरे से कुछ देर तक तो बातें करते रहे फिर मुझे एहसास होने लगा मुझे अक्षिता के साथ में सेक्स करना चाहिए। मैंने अक्षिता के हाथों को सहलाना शुरू कर दिया था जब मैं उसके हाथों को सहलाने लगा तो वह मेरे करीब आती चली गई। अब वह मेरी बाहों में आ चुकी थी जब वह मेरी बाहों में आई तो उसके बाद मै उसके होठों को चूमने लगा। उसे बहुत ही ज्यादा अच्छा लग रहा था उसके गुलाबी होठों का रसपान मैंने काफी देर तक किया।

अक्षिता ने मेरे लंड को बाहर निकल लिया था वह मेरे लंड को बड़े अच्छे से सकिंग करने लगी थी। वह जिस तरीके से मेरे मोटे लंड को चूस रही थी उस से मेरी गर्मी बढ़ती जा रही थी। अक्षिता गरम होती जा रही थी हम दोनों बहुत गरम होने लगे थे। जब मैंने अक्षिता से कहा मुझे तुम्हारे स्तनों को चूसना है। अक्षिता ने भी अपने बदन से कपड़े उतार दिए थे वह मेरे सामने नंगी लेटी हुई थी।

उसके नंगे बदन को देखकर मैं बहुत खुश था। मैंने अक्षिता के स्तनों को चूसना शुरू कर दिया था। मैं अक्षिता के गोरे स्तनों को अच्छे से चूस रहा था मैं उसकी गर्मी को बढाए जा रहा था। मैंने उसकी गर्मी को बढ़ा दिया था वह गरम हो चुकी थी। अक्षिता की चूत से पानी निकल रहा था वह मेरे लंड को अपनी चूत में लेने के लिए तैयार हो चुकी थी। मैंने अक्षिता की योनि को चाटना शुरू किया और उसकी योनि को मैं बहुत देर तक चाटता रहा। मैंने अक्षिता की चूत से पानी बाहर निकाल कर रख दिया था। उसकी गुलाबी चूत को चाट कर मुझे मजा आ रहा था। अक्षिता की चूत से बहुत अधिक मात्रा में पानी बाहर निकलने लगा था। मैंने उसकी चूत में लंड घुसा दिया था मेरा मोटे लंड अक्षिता की चूत मे जाते ही वह बड़ी जोर से चिल्लाई और बोली मुझे मजा आ रहा है। वह मुझे कहने लगी मेरी योनि में दर्द होने लगा है।

उसकी चूत में बड़ा दर्द होने लगा था। मैं अक्षिता को तेज गति से धक्के मार रहा था मैं उसे जिस तरह चोद रहा था उससे मुझे मजा आने लगा था और उसको भी बड़ा अच्छा लग रहा था। अक्षिता की चूत से कुछ ज्यादा ही गर्म पानी बाहर की तरफ को निकलने लगा था। मैं अक्षिता की चूत की गर्मी को बिल्कुल भी बर्दाश्त नहीं कर पा रहा था। मैंने अक्षिता की चूत के अंदर अपने माल को गिरा दिया था। मेरा माल अक्षिता की चूत के अंदर गिर चुका था मेरी गर्मी अब शांत हो चुकी थी। हम दोनो दोबारा शारीरिक सुख का मजा लेना चाहता था। मैंने अक्षिता की चूत के अंदर अपने लंड को घुसा दिया था। मैने जब अपने लंड को अक्षिता की योनि में डाला तो वह जोर से चिल्ला कर बोली मुझे मजा आने लगा है। हमने 10 मिनट तक सेक्स किया फिर मेरी गर्मी शांत हो चुकी थी।
 
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